Success Story: इंजीनियरिंग में प्रवेश के लिए जेईई एडवांस की परीक्षा और मेडिकल एंट्रेंस एग्जाम नीट दोनों ही परिक्षा अपने आप में टफ हैं। इन एंट्रेंस एग्जाम में कॉम्पिटिशन भी बहुत ज्यादा होता है। ऐसे में बच्चों के लिए एक एग्जाम में क्वालीफाई करना मुश्किल होता है, लेकिन बिहार के दरभंगा की अक्षरा साह ने इन दोनों एंट्रेंस एग्जाम को क्वालीफाई करके युवाओं के बीच एक मिसाल पेश कर दी है। अक्षरा ने इन दोनों कठिन परीक्षा में क्वालीफाई करके क्षेत्र का मान बढ़ा दिया है।
आपको बता दें कि अक्षरा दरभंगा के राजकुमारगंज की रहने वाली है, उन्होंने गौसाघाट के डीएवी स्कूल से अपनी पढ़ाई पूरी की हैं। इस परीक्षा में सफलता हासिल करके अक्षरा गुवाहाटी जोन से जेईई एडवांस में लड़कियों में टॉपर भी हैं वहीं उसका CLR रैंक 1238 है। मिली जानकारी के अनुसार उनके पिता रमेश शाह गौसाघाट मिडिल स्कूल के प्रिंसिपल हैं। अक्षरा ने इन परीक्षाओं की तैयारी के लिए दो साल का समय दिया था। वहीं अक्षरा ने इन परीक्षाओं के कुछ सब्जेक्ट्स की तैयारी बगैर कोचिंग के की थी। उन्होंने सिर्फ मैथ्स और बायो की तैयारी के लिए कोचिंग की मदद ली थी। आपको बता दें कि मेडिकल एंट्रेंस नीट के लिए फीजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी सब्जेक्ट पढ़ने होते हैं लेकिन इंजिनियरिंग एंट्रेंस एग्जाम जेईई एडवांस के लिए फीजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स सब्जेक्ट्स से तैयारी करनी पड़ती है। नीट और जेईई एडवांस एग्जाम को क्वालीफाई करना अपने आप में एक बहुत बड़ी उपलब्धि होती है, लेकिन अक्षरा ने इन दोनों एग्जाम को क्वालीफाई करके एक अलग ही पहचान बना ली है।
एक इंटरव्यू में अक्षरा ने बताया की वह अपनी स्टडी को रात के समय में किया करती थीं ताकि उन्हें कोई डिस्टर्बेंस ना हो। अपनी पढ़ाई के बीच वह छोटी-छोटी ब्रेक लिया करती थी। इसके साथ ही उन्होंने अपनी पढ़ाई में ऑनलाइन स्टडी मैटीरियल को शामिल किया था जिससे उसे पढ़ाई करने में बहुत मदद मिली। इसके साथ ही उन्होंने मैथ्स और बायो दोनों सब्जेक्ट के लिए बैलेंस बनाकर पढ़ाई की। अक्षरा नीट और जेईई एडवांस क्वालीफाई करने के साथ दोनों की पढ़ाई करने के लिए एलिजिबल है लेकिन वह इंजीनियरिंग की फील्ड में जाना चाहती हैं। उन्होंने आगे बताया कि बायलॉजी को उन्होंने शौकिया तौर पर पढ़ा था। इससे पहले अक्षरा ने केमिस्ट्री और बायोलॉजी ओलंपियाड की नेशनल विनर भी रह चुकी है। अक्षरा अपने पसंदीदा सब्जेक्ट मैथ्स के साथ आगे बढ़कर अपना करियर बनाना चाहती है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि वह आइआइटी बॉम्बे या दिल्ली से कंप्यूटर साइंस से इंजीनियरिंग करना चाहती है।